रीवा
सड़क मार्ग से प्रयागराज जाने के लिए सबसे ज्यादा ट्रैफिक रीवा की तरफ के राष्ट्रीय राजमार्ग पर मिल रहा है। रीवा से प्रयागराज की दूरी 133 किलोमीटर है,लेकिन उसे तय करने में पांच से सात घंटे लग रहे है। वाहनों की एंट्री तो शुरू हो गई, लेकिन वाहनों को स्पीड ज्यादा नहीं मिल रही है। रीवा वाले रुट पर महाराष्ट्र, गुजरात और राजस्थान से प्रयागराज जाने वाले यात्रियों का दबाव है।
प्रयाग राज जाने वाले कई यात्री ट्रेन से रीवा आ रहे, फिर यहां से टैक्सी किराए पर लेकर प्रयागराज जा रहे है। कैब टैक्सी छह से आठ हजार रुपये में प्रयागराज की ट्रीप करा रही है, लेकिन ट्रैफिक जाम होने पर यात्रियों को ज्यादा कीमत भी चुकाना पड़ रही है।
ट्रेवल एजेंसी संचालक फरीद खान का कहना है कि शाम से ट्रैफिक तो बहाल हो गया, लेकिन बीच-बीच में ट्रैफिक जाम मिल रहा है। 130 किलोमीटर की दूरी पांच घंटे में तय हो रही है। इतना ही समय प्रयागराज से आने में लग रहा है। प्रयागराज बाइपास से यदि वाहन भीतर ले जाते है तो समय और ज्यादा लगता है। इस कारण यात्रियों को हम बाइपास पर उतार कर इंतजार करते है। कई लोग ट्रैफिक से बचने के लिए चित्रकूट के घने जंगल वाले सिंगल रोड को भी अपना रहे है।
सतना, मणिकपुर से मिल रही मेला स्पेशल ट्रेन
प्रयागराज तक जाने के लिए रेल विभाग ने 300 से ज्यादा मेला स्पेशल ट्रेन चलाई है। मध्य प्रदेश के यात्रियों को सतना, झांसी, कटनी से प्रयागराज तक के लिए रेल गाड़ी मिल रही है, हालांकि ट्रेनों में भीड़ भी मिल रही है, लेकिन कोशिशों के बाद ट्रेनों में यात्रियों को जगह भी मिल रही है।