गिरावट की वजह से सोने की चमक पड़ी फीकी, जानिए नई कीमत…….

आज सुबह सोना (Gold Rate) 53 रुपये की गिरावट (Gold price fall) के साथ 51,449 रुपये प्रति 10 ग्राम के स्तर पर खुला। शुरुआती कारोबार में ही सोने (Gold

मंगलवार को सोने (Gold Rate) की कीमतों में शानदार बढ़त (Gold price hike) दिखी थी, लेकिन आज सोने में गिरावट (Gold price fall) दर्ज की गई है। कल 51,502 रुपये प्रति 10 ग्राम के स्तर पर बंद हुआ सोना (Gold Price Today) आज 53 रुपये की गिरावट के साथ 51,449 रुपये प्रति 10 ग्राम के स्तर पर खुला। शुरुआती कारोबार में सोना गिरता ही चला गया। ऐसा भी वक्त आया जब सोने ने 51,450 का उच्चतम स्तर तो छुआ ही, लेकिन 51,257 के न्यूनतम स्तर तक भी जा पहुंचा। यानी शुरुआती कारोबार में ही सोने में 192 रुपये तक की गिरावट देखने को मिली।

सर्राफा बाजार में कल सोने में दिखी थी तेजी

अंतरराष्ट्रीय बाजार में सोने में तेजी आने के बाद स्थानीय सर्राफा बाजार में मंगलवार को सोने का भाव 418 रुपये की तेजी के साथ 52,638 रुपये प्रति 10 ग्राम हो गया। एचडीएफसी सिक्योरिटीज ने यह जानकारी दी। पिछले कारोबारी सत्र में सोना 52,545 रुपये प्रति 10 ग्राम पर बंद हुआ था। एचडीएफसी सिक्योरिटीज के वरिष्ठ विश्लेषक (जिंस) तपन पटेल ने कहा, ‘‘अंतरराष्ट्रीय बाजारों में तेजी आने के अनुरूप दिल्ली में 24 कैरेट सोने की हाजिर कीमत में 418 रुपये की तेजी आई, हालांकि रुपये में लाभ दर्ज होने से सोने की तेजी पर कुछ अंकुश लग गया।’’ घरेलू शेयर बाजार में तेजी तथाडॉलर के कमजोर होने से मंगलवार को रुपये में 73 पैसे का उछाल आया। अंतरराष्ट्रीय बाजार में सोने का भाव लाभ दर्शाता 1,988 डॉलर प्रति औंस बोला जा रहा था।

कोरोना काल में सोना बना वरदान

सोना गहरे संकट में काम आने वाली संपत्ति है, मौजूदा कठिन वैश्विक परिस्थितियों में यह धारणा एक बार फिर सही साबित हो रही है। कोविड-19 महामारी और भू-राजनीतिक संकट के बीच सोना एक बार फिर रिकॉर्ड बना रहा है और अन्य संपत्तियों की तुलना में निवेशकों के लिए निवेश का बेहतर विकल्प साबित हुआ है। विश्लेषकों का मानना है कि उतार-चढ़ाव के बीच सोना अभी कम से कम एक-डेढ़ साल तक ऊंचे स्तर पर बना रहेगा। दिल्ली बुलियन एंड ज्वेलर्स वेलफेयर एसोसिएशन के अध्यक्ष विमल गोयल का मानना है कि कम एक साल तक सोना उच्चस्तर पर रही रहेगा। वह कहते हैं कि संकट के इस समय सोना निवेशकों के लिए ‘वरदान’ है। गोयल मानते हैं कि दिवाली के आसपास सोने में 10 से 15 प्रतिशत तक का उछाल आ सकता है।

मुसीबत की घड़ी में हमेशा बढ़ी है सोने की चमक!

सोना हमेशा ही मुसीबत की घड़ी में खूब चमका है। 1979 में कई युद्ध हुए और उस साल सोना करीब 120 फीसदी उछला था। अभी हाल ही में 2014 में सीरिया पर अमेरिका का खतरा मंडरा रहा था तो भी सोने के दाम आसमान छूने लगे थे। हालांकि, बाद में यह अपने पुराने स्तर पर आ गया। जब ईरान से अमेरिका का तनाव बढ़ा या फिर जब चीन-अमेरिका के बीच ट्रेड वॉर की स्थिति बनी, तब भी सोने की कीमत बढ़ी।

सोने का आयात 81 प्रतिशत घटा

देश का सोने का आयात चालू वित्त वर्ष की अप्रैल-जुलाई की अवधि में 81.22 प्रतिशत घटकर 2.47 अरब डॉलर या 18,590 करोड़ रुपये रह गया। सोने का आयात देश के चालू खाते के घाटे (कैड) को प्रभावित करता है। वाणिज्य मंत्रालय के आंकड़ों के अनुसार कोविड-16 महामारी के बीच सोने की मांग में काफी कमी आई है, जिससे आयात घटा है। इससे पिछले वित्त वर्ष 2019-20 की समान अवधि में सोने का आयात 13.16 अरब डॉलर या 91,440 करोड़ रुपये रहा था। इसी तरह चालू वित्त वर्ष के पहले चार महीनों में चांदी का आयात भी 56.5 प्रतिशत घटकर 68.53 करोड़ डॉलर या 5,185 करोड़ रुपये रह गया। सोने और चांदी के आयात में कमी से देश के व्यापार घाटे को कम करने में मदद मिली है।

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