लखनऊ
उत्तर प्रदेश राज्य सड़क परिवहन निगम की आर्थिक स्थिति खराब हो रही है। आलम यह है कि रोडवेज अपने फिक्स डिपाजिट तुड़वाकर कर्मियों को वेतन बांट रहा है। वित्त नियंत्रक ने शासन को भेजे पत्र में 25 पैसा प्रति किलोमीटर प्रति यात्री बढ़ाने का प्रस्ताव भेजा है। इससे सौ किमी के सफर के लिए किराए में 25 रुपये बढ़ोतरी हो जाएगी।
यह भी कहा है कि किराया तत्काल नहीं बढ़ाया गया तो राजकोषीय घाटा और बढ़ेगा और परिवहन निगम की आर्थिक स्थिति खराब हो जाएगी। अप्रैल से दिसंबर 2022 तक रोडवेज का नुकसान 210 करोड़ था, जिसके मार्च तक बढ़कर 250 करोड़ पहुंचने की संभावना है। यात्रियों को 100 किमी तक सफर के लिए करीब 25 रुपये अधिक चुकाने होंगे। वर्तमान में साधारण बस का किराया एक रुपये पांच पैसा प्रति किमी. प्रति यात्री है। पत्र की मंजूरी पर बोर्ड में प्रस्ताव पास कराकर बढ़ा किराया लागू होगा।
प्रमुख शहरों के बीच बढ़ेगा बसों का किराया
लखनऊ से कानपुर 22 रुपये
लखनऊ से प्रयागराज 52 रुपये
लखनऊ से गोरखपुर 65 रुपये
लखनऊ से बनारस 73 रुपये
लखनऊ से दिल्ली 125 रुपये
यात्रियों पर बढ़ता रहा बोझ
बीते 10 साल से बस यात्रियों पर किराये का बोझ साल दर साल बढ़ता रहा। इसमें साल 2012 में चार पैसा प्रति किमी प्रति यात्री किराया बढ़ा था। इसी प्रकार 2013 में भी चार पैसा, 2017 में नौ पैसा और 2020 में दस पैसा अब 2023 में 25 पैसा किराया बढ़ाने की तैयारी है।
पुरानी बसों की मरम्मत में खर्च ज्याद, नई बसें खरीदना
परिवहन निगम के एमडी संजय कुमार ने बताया कि दो वर्ष से किराया नहीं बढ़ा, जबकि ईधन, आटो पार्ट्स कीमतें काफी बढ़ गई हैं। किराया वृद्धि का निर्णय शासन स्तर पर लिया जाएगा।